IDENTIFICATION
26-29 सेंमी की लम्बाई के साथ ब्लैक-रम्प्ड फ्लेमबैक एक बड़ी प्रजाति है। इसका आकर विशिष्ट कठफोड़वा की तरह ही होता है, तथा पंखों के घने हिस्से जो कि सुनहरे होते हैं, विशेष दिखते हैं। इसकी दुम काली होती है, शरीर के निचले हिस्से सफ़ेद होते हैं जिनमें गहरे रंग की पट्टियां होती हैं। गर्दन काली होती है जिसमें सफ़ेद रंग की महीन धारियां होती हैं, जिनसे यह भारतीय क्षेत्र में पाए जाने वाले किसी भी अन्य सुनहरी पीठ वाले कठफोड़वे से अलग पहचाना जा सकता है। इसका सिर सफ़ेद होता है, गर्दन के पीछे का भाग तथा गला काला होता है, आंख का हिस्सा धूसर होता है।
वयस्क नर के लाल रंग के मुकुट तथा क्रेस्ट होते हैं। मादाओं में सफ़ेद धब्बों के साथ काला फोरक्राउन होता है जो की सिर्फ पीछे वाले क्रेस्ट पर लाल होता है। युवा पक्षी मादाओं जैसे ही होते हैं परन्तु उनका रंग कुछ कम चटख होता है।
CLASSIFICATION
KINGDOM – ANIMALIA PHYLUM – CHORDATA CLASS – AVES
ORDER – PICIFORMES
FAMILY – PICIDAE
GENUS – Dinopium SPECIES – benghalense
Scientific Name
Dinopium benghalense
IUCN STATUS
BREEDING TIME
प्रजनन का समय मौसम के साथ बदलता रहता है और फरवरी से जुलाई के बीच होता है। प्रजनन के मौसम के दौरान वे अक्सर ध्वनियां निकालते हैं। घोंसला बनाने के लिए पक्षियों द्वारा टनों को खोदा जाता है तथा इसका प्रवेश-द्वार क्षैतिज होता है जो कि अन्दर के खोह जैसा बन जाता है। कभी-कभी ये पक्षी अन्य पक्षियों का घोंसला हड़प लेते हैं। घोंसले में छोर पर अक्सर कीचड़ भी लगाया जाता है। अंडे खोह के अंदर दिए जाते हैं। सामान्य रूप से तीन अंडे दिए जाते हैं जो कि लम्बे आकार के तथा चमकदार सफ़ेद होते हैं। अंडे 11 दिनों के ऊष्मायन के बाद फूटते हैं। बच्चे लगभग 20 दिनों तक घोंसले में रहने के बाद चले जाते हैं।
KEY POINT
1. यह काली गर्दन तथा काली दुम वाला एकमात्र सुनहरी पीठ वाला कठफोड़वा है। 2.भारतीय उपमहाद्वीप और श्रीलंका के लिए स्थानिक 3. Black rumped flameback, जिसे lesser golden-backed woodpecker या lesser goldenback, के रूप में भी जाना जाता है,